भारतीय प्रतिभा के विकास में प्रोत्साहन की भूमिका

          🌷🍀 भारतीय प्रतिभा के विकास में प्रोत्साहन की भूमिका ☘🌷

   ✍ हमारे देश में प्रतिभा की कोई कमी नहीं हैहमारे देश में जन्मे प्रतिभाशाली लोग स्वदेश के साथ-साथ विश्व के अन्य सभी देशों खासकर अमेरिका, ब्रिटेन में अपनी प्रतिभा का डंका बजा रहे हैं। परन्तु इनके अलावा भी और बहुत से इन्ही की तरह उन्नत मस्तिष्क क्षमता वाले प्रतिभावान विद्यार्थी देश में अध्ययनरत, निवासरत हैं। लेकिन वर्तमान भारतीय शिक्षा पद्धति में उनको अपनी नैसर्गिक मस्तिष्क क्षमता के बेहतर अधिकतम सदुपयोग संबंधी आवश्यक मार्गदर्शन नहीं मिलने के कारण अपनी प्रतिभा का बेहतर उपयोग नहीं कर पा रहे हैं।
          वर्तमान भारतीय शिक्षा पद्धति मन मस्तिष्क के बहुत कम क्षमतावान चेतन मन पर आधारित है। जबकि अवचेतन मन में अपेक्षाकृत कई गुना अधिक प्रतिभा-क्षमता छुपी हुई अवस्था में विद्यमान है। जो देश- दुनिया के सभी प्रमुख वैज्ञानिक खोज,आविष्कारों, उपलब्धियों तथा प्रतिभावान लोगों/विद्यार्थियों के उन्नत मस्तिष्क क्षमता का मुख्य आधार है।
      इसलिए
            वर्तमान शिक्षा पद्धति में अवचेतन मन के संबंध में अगर विधिवत अध्ययन तथा मार्गदर्शन की सुविधा उपलब्ध हो सके तो और भी लाखों-करोड़ों विद्यार्थी अपने भीतर अवचेतन रूप में छिपी मस्तिष्क क्षमता का बेहतर विश्वस्तरीय उपयोग कर देशहित में अपना योगदान दे सकेंगे। इसके संबंध में मार्गदर्शन के अभाव के कारण देश की शिक्षा और जीवन स्तर विकसित देशों की तरह उन्नत नहीं हो पा रहा है।
          विकसित देशों की बराबरी कर सकने की क्षमता आज भी भारत की मानसिक क्षमता-प्रतिभा में है  प्रतिभाशाली लोगों तथा वर्तमान मे साधारण प्रतीत होने वाले विद्यार्थियों में कितनी हुई अवस्था में विद्यमान अपार मन-मस्तिष्क क्षमता-प्रतिभा योग ध्यान की विभिन्न विधियों, साधनाओं के उपयोग के अलावा प्रोत्साहन या मोटिवेशन रुपी मनोचिकित्सा के उपयोग से भी पर्याप्त विकसित/ सक्रिय/ प्रकट होता है जिसके  विकास, सही बेहतर सदुपयोग संबंधी शिक्षा, प्रशिक्षण, आवश्यक मार्गदर्शन सुविधा उपलब्ध करवाया जा सका, तो यह भारत के इतिहास में देश के लिए बहुत अच्छे दिन लाने वाला सिद्ध होगा। देश को उन्नत बनाने वाला सिद्ध होगा। इसके लिए भारतीय शिक्षा में पतंजलि योग और मनोविज्ञान का बेहतर और अधिकाधिक सदुपयोग सर्वाधिक सहयोगी सिद्ध होगा।
                           
                                                                       धन्यवाद
        

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